-जेनरेटिव एआई में 26 मिलियन से अधिक भविष्य में नौकरियाँ
मेरठ। अमेज़ॅन वेब सर्विसेज (एडब्ल्यूएस) जेनरेटिव एआई पर दो दिवसीय कार्यशाला एमआईईटी में शुरू हुई। इस दौरान कार्यशाला में एक हजार से अधिक विद्यार्थियों ने भाग लिया। अमेज़ॅन वेब सर्विसेज के प्रोग्राम मैनेजर श्रुति नांबियार, सीनियर प्रोग्राम मैनेजर दिवाकर गुप्ता, टेक्निकल प्रोग्राम मैनेजर आकांक्षा राय शर्मा, सॉल्यूशन आर्किटेक्ट तुषार सिंह और अभिनव चौहान ने छात्रों को एडब्ल्यूएस की न्यूनतम प्रौद्योगिकियों और जेनरेटिव एआई के बारे में समझाने के लिए अलग-अलग सत्र लिए। वक्ताओं ने बताया कि जेनेरिक एआई पारंपरिक एआई से बेहतर है। जेनरेटिव एआई की मदद से जटिल कार्यों को आसानी से किया जा सकता है। दुनिया में जेनरेटिव एआई के क्षेत्र में 26 मिलियन से अधिक नौकरियों की संभावना है। जेनरेटिव एआई दुनिया का भविष्य है। छात्रों को मशीन लर्निंग, डीप लर्निंग, डेटा साइंस, क्लाउड कंप्यूटिंग, इंटरनेट ऑफ थिंग्स आदि न्यूनतम तकनीकों के बारे में विस्तार से बताया।समन्वयक जगबीर सिंह ने कहा कि जेनेरेटिव एआई भविष्य की तकनीक है। अगर छात्र अभी से इसके टूल्स पर काम करना सीख लें तो बड़ी-बड़ी मल्टीनेशनल कंपनियों में रोजगार के रास्ते खुल जाएंगे।
इस दौरान एडब्ल्यूएस प्रतिनिधियों द्वारा 100 छात्रों का चयन कर 14 टीम बनाई गई है। सभी टीमों को रियल टाइम प्रोबलम स्टेटमेंट दी गई है, जिसका समाधान टीमों को देना है। शीर्ष तीन टीमों को अमेज़ॅन वेब सर्विसेज द्वारा रिवार्ड्स दिए जाएंगे।
इस अवसर पर एमआईईटी के चेयरमैन विष्णु शरण, वाइस चेयरमैन पुनीत अग्रवाल, कैंपस निदेशक डॉ एसके सिंह, डीन एकेडमिक्स डॉ संजीव सिंह, कोऑर्डिनेटर एडब्ल्यूएस जगबीर सिंह,डीन डॉ अंकुर सक्सेना, एचओडी सीएसई डॉ मुकेश रावत, एचओडी आईटी डॉ स्वाति शर्मा, हेमंत कुमार बरनवाल, अनामिका सिंह मौजूद रहे।
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